Thursday, July 17, 2025 07:40:06 PM

75 लाख रुपये की साइबर ठगी
शेयर बाजार में तीन गुना मुनाफे का झांसा देकर इंजीनियर से 75 लाख की ठगी

नोएडा के एक इंजीनियर अजय कुमार वर्मा से शेयर बाजार निवेश के नाम पर 75 लाख रुपये की साइबर ठगी हुई। पुलिस जांच में जुटी।

शेयर बाजार में तीन गुना मुनाफे का झांसा देकर इंजीनियर से 75 लाख की ठगी
एआई द्वारा जारी सांकेतिक तस्वीर | पाठकराज
पाठकराज

नोएडा, 17 जुलाई। शेयर बाजार में निवेश कर मोटा मुनाफा कमाने का सपना देख रहे एक इंजीनियर से 75 लाख रुपये की साइबर ठगी का सनसनीखेज मामला सामने आया है। मामला नोएडा के सेक्टर-62 स्थित रजत विहार कॉलोनी निवासी अजय कुमार वर्मा से जुड़ा है, जिन्होंने पेशे से इंजीनियर होने के साथ शेयर बाजार में खास दिलचस्पी रखी थी।

अजय कुमार की शिकायत पर साइबर थाना पुलिस ने मुकदमा दर्ज कर खातों की जांच शुरू कर दी है, जिनमें ठगी की रकम ट्रांसफर करवाई गई थी। पुलिस ने भरोसा जताया है कि जल्द आरोपी को गिरफ्तार कर खाते फ्रीज़ किए जाएंगे।

 

शुरुआत में दिखाया मुनाफा, फिर ठगा करोड़ों के करीब

घटना की शुरुआत 2 मई को हुई, जब अजय कुमार को जयकुमार नामक एक व्यक्ति का फोन आया। उसने खुद को शेयर बाजार का विशेषज्ञ बताया और दो से तीन गुना मुनाफे का झांसा देकर एक विशेष व्हाट्सएप ग्रुप से जोड़ लिया।

शुरुआती विश्वास बनाने के लिए आरोपी ने कुछ लाभ की राशि अजय के खाते में वापस भी भेजी, जिससे उनका विश्वास पूरी तरह जीत लिया गया। इसके बाद अजय ने अलग-अलग किस्तों में 40 लाख रुपये निवेश के नाम पर ट्रांसफर कर दिए।

 

टैक्स और शुल्क के नाम पर और 35 लाख ठग लिए

जब अजय कुमार ने अपनी रकम वापस मांगी तो आरोपी ने उसे टैक्स और प्रोसेसिंग फीस के नाम पर 35 लाख रुपये और जमा करवाने को कहा। अजय ने बिना शक किए यह रकम भी दे दी। मगर जल्द ही लेट फीस के नाम पर 60 लाख और मांगे गए, जिसके बाद उन्हें शक हुआ और उन्होंने रकम देने से इनकार कर दिया। तब तक आरोपी संपर्क तोड़ चुका था और कुल 75 लाख रुपये की ठगी हो चुकी थी।

 

पुलिस ने जांच शुरू की, कई खाते रडार पर

साइबर थाना पुलिस ने मामले को गंभीरता से लेते हुए एफआईआर दर्ज कर अलग-अलग बैंक खातों की जांच शुरू कर दी है। जिन खातों में रकम ट्रांसफर हुई है, उन्हें ट्रैक किया जा रहा है। साथ ही, पीड़ित को गुमराह करने में इस्तेमाल किए गए व्हाट्सएप नंबर, कॉल डिटेल्स और वर्चुअल नेटवर्क से जुड़ी जानकारियाँ भी खंगाली जा रही हैं। पुलिस का कहना है कि आरोपी का पता लगाने के लिए तकनीकी सेल की मदद ली जा रही है, और जल्द ही उसे गिरफ़्तार कर राशि फ्रीज़ कराने की प्रक्रिया पूरी की जाएगी।


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