सेक्टर 27 के मार्केट में राखी की खरीदारी करती युवतियां | पाठकराज
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नोएडा। रक्षाबंधन का पर्व जैसे-जैसे नजदीक आ रहा है, वैसे-वैसे बाजारों में राखियों की रौनक बढ़ती जा रही है। नोएडा, ग्रेटर नोएडा, यमुना सिटी, जेवर, दनकौर, बिलासपुर सहित गांव और सेक्टर सोसायटियों के बाजारों में राखी की खरीदारी जोरों पर है। बाजारों में खाटू श्याम, श्रीगणेश, ओम और स्वस्तिक चिन्हों वाली पारंपरिक राखियों, कस्टमाइज्ड नाम वाली राखियां, और बच्चों के लिए कार्टून कैरेक्टर राखियों की मांग सर्वाधिक देखी जा रही है।
बाजारों में फैला राखियों का रंग-बिरंगा संसार
सेक्टर-18 का अट्टा मार्केट, सेक्टर-27 का इंदिरा मार्केट, हरौला, जगतफार्म, दादरी, तुगलपुर, कासना, रामपुर, जेवर, रबूपुरा और बिलासपुर के बाजारों में भारी भीड़ देखी जा रही है। दुकानों पर कार्टून, लाइट वाली, स्टोन-जड़ित, जरकन, रेशम धागे वाली राखियां खूब बिक रही हैं। युवतियां अपने भाइयों के नाम और पसंद के अनुसार ऑर्डर देकर कस्टमाइज्ड राखियां बनवा रही हैं, हालांकि इनका शुल्क थोड़ा अधिक लिया जा रहा है। रबूपुरा के दुकानदार ने बताया कि इस बार बाजार पूरी तरह राखियों से सजा हुआ है और ग्राहकों की दिलचस्पी पारंपरिक राखियों के साथ-साथ ट्रेंडी डिज़ाइनों में भी खूब है।
डाक और कोरियर के ज़रिए भेजी जा रही राखियां
जो बहनें अपने भाइयों से दूर हैं, वे डाक और कोरियर के माध्यम से राखी भेज रही हैं। ग्रेटर नोएडा के अजय कांत बताते हैं कि उनके सेंटर से पिछले कुछ दिनों में 150 से अधिक राखियां कोरियर की जा चुकी हैं। रामपुर बाजार के विक्रेता पिंटू ने बताया कि उन्होंने अब तक 60 से अधिक राखियां फोन ऑर्डर पर बुक कर कोरियर की हैं, जिनमें अमेरिकन डायमंड की राखियों की डिमांड सबसे ज्यादा है।
चांदी की राखियों पर महंगाई की मार, बिक्री में गिरावट
चांदी की कीमतों में उछाल के चलते इस बार चांदी की राखियों की मांग घट गई है। सेक्टर-18 के ज्वेलर अतुल मेहरा ने बताया कि पिछले वर्ष की तुलना में इस बार 20% बिक्री कम हुई है। चांदी की राखियों की कीमतें अब 500 से 2000 तक पहुंच चुकी हैं, जिससे ग्राहक डिज़ाइनर और कृत्रिम राखियों की ओर रुख कर रहे हैं। सेक्टर-50 निवासी प्रिया शर्मा ने कहा, "हर साल चांदी की राखी लेती थी, पर इस बार बजट नहीं बन पा रहा।" एसके जैन, अध्यक्ष, ज्वैलर्स एसोसिएशन, गौतमबुद्धनगर – “बाजार में ग्राहकों की आवाजाही शुरू हो चुकी है, अब देखना होगा कि रक्षा बंधन तक कितना उछाल आता है।” मनोरंजन कुमार सिंह, मैनेजर, मालाबार गोल्ड एंड डायमंड – “खरीदार आ रहे हैं, पर अब लोग कम वजन और बजट के अनुरूप राखियां ले रहे हैं।”